मिलने की मजबूरी है
बाधा लेकिन दूरी है
प्यार की बारिश होती रहती
लेकिन प्यास अधूरी है
बिखर गए सारे सपने पर
ख्वाहिश तो सिन्दूरी है
आग तड़प की दोनों दिल में
मिलना बहुत जरूरी है
भ्रमर सुमन का मिलन हुआ तो
समझो चाहत पूरी है
Wednesday, January 13, 2010
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19 comments:
सुंदर रचना के लिये धन्यवाद
सुंदर रचना
मकर संक्रांति पर्व की हार्दिक शुभकामना . भगवान सूर्य की पहली किरण आपके जीवन में उमंग और नई उर्जा प्रदान करे
बिखर गए सारे सपने पर
ख्वाहिश तो सिन्दूरी है
नई आशाओं की ख्वाईशें बनी रहें।
यह रचना बहुत अच्छी लगी।
मकर संक्रांति पर्व की हार्दिक शुभकामना।
vandana ji , adhi adhuri nahin ye poorn aur aapki behatareen rachnaon men ek hai. lajawaab.
प्यार की बारिश होती रहती
लेकिन प्यास अधूरी है
बिखर गए सारे सपने पर
ख्वाहिश तो सिन्दूरी है
बहुत सुंदर रचना
धन्यवाद
मकर संक्रांति पर्व की हार्दिक शुभकामना।
★☆★☆★☆★☆★☆★
'श्रेष्ठ सृजन प्रतियोगिता
★☆★☆★☆★☆★☆★
क्रियेटिव मंच
beshak choti rachna hai magar bahut hi sundar hai.
खानापूर्ति..? बाप रे, ये अगर खानापूर्ति है सुमन जी तो फिर असला क्या होगा???
एक-दो मिस्रे में शायद एक "दीर्घ" अतिरिक्त आ रहा है, वर्ना तो कयामत ढ़ा ही रहे हैं सब के सब शेर अपने खानापूर्ति वाली अवस्था में भी...
ख्वाहिश तो सिंदूरी है वाले मिस्रे ने मन मोह लिया है सरकार।
अतिसुन्दर.
Aap is rachna ko chhoti aur tuchch samajh rahen hain..meri aapatti darz karen...
Bahut hi sundar rachna hai...bahut bahut sundar...
हार्दिक धन्यवाद सहित विनम्र आभार प्रेषित है।
सादर
श्यामल सुमन
09955373288
www.manoramsuman.blogspot.com
छोटी बहर में अच्छा तो लिखा है साहिब!
bahut pyaree rachana lagee ye aapkee.
रचना बहुत अच्छी लगी।
प्यास अधूरी अच्छी कविता ,इत्तेफ़ाकन आज सबेरे से खाना नही खा पाया था इस कारण ख्वाहिश तो सिन्दूरी है की जगह पढ गया ,ख्वाहिश है कुछ हो तन्दूरी
प्यार की बारिश होती रहती
लेकिन प्यास अधूरी है
वाह वाह ।
भ्रमर सुमन का मिलन हुआ तो
समझो चाहत पूरी है
क्या बात है बात भी कह दी और अपना नाम भी गूंथ दिया बहुत खूबसूरती से ।
खानापूर्ती न कहें, इतनी विनम्रता अच्छी नही ।
सुंदर रचना
बसंत पंचमी की हार्दिक शुभकामनाये ओर बधाई आप को .
क्या मुक्त गान है सुमन जी !!
वाह वाह !
मिलने की मजबूरी है
बाधा लेकिन दूरी है
प्यार की बारिश होती रहती
लेकिन प्यास अधूरी है
बिखर गए सारे सपने पर
ख्वाहिश तो सिन्दूरी है
आग तड़प की दोनों दिल में
मिलना बहुत जरूरी है
भ्रमर सुमन का मिलन हुआ तो
समझो चाहत पूरी है
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