पर जीवन आसान नहीं है
आस - पास में अक्सर देखा
सूरत पर मुस्कान नहीं है
क्यों परिजन से प्रेम-प्रदर्शन
अगर प्यार में जान नहीं है
जब खटास हो रिश्तों में तो
रहो दूर, नुकसान नहीं है
क्या समझे हो सत्य, धर्म का
मत कहना विज्ञान नहीं है
जो समाज में नफरत बाँटे
वो सचमुच इन्सान नहीं है
हक छीने जो सुमन किसीका
ऐसा हिन्दुस्तान नहीं है
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