अपनापन में कितना दम है
अपनों में अपनापन कम है
रिश्ते लोग बना लेते पर
उसे निभाने में बेदम है
हर मुश्किल से लड़ने खातिर
जीवन में रिश्ता मरहम है
प्रेम पूर्ण रिश्ता ही तीरथ
गंगा और आबे जमजम है
जोड़ सको तो जोड़ो रिश्ते
रिश्ता यारों बहुत अहम है
रिश्तों की गर्माहट से ही
लगता जीवन में शबनम है
रुके सुमन रिश्तों का रिसना
"मैं" से पहले आता "हम" है
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